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Shayari - 100+ Shayari in Category | Shayar in Hindi {Hindi Fonts}

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1
हमारे जीने का अलग अंदाज़ है
एक आंख में आंसू और दूसरे में ख़्वाब है

2
सख़्त रातों में आसान सफ़र लगता है
यह मेरी मां की दुआओं का असर लगता है

3
दुश्वार काम था ग़म को समेटना
मैं ख़ुद को बांधने में कई बार खुल गया

4
तजुर्बा कहता है मोब्बत से किनारा कर लूं
दिल कहता है कि ये तजुर्बा दोबारा कर लूं

5
वो भी रो देगा उसे हाल सुनाएं कैसे
मोम का घर है चराग़ों को जलाएं कैसे

6
यूं तो हमने घूम लिया सारा जहां
लेकिन तेरी गली की बात ही कुछ और है

7
हमदर्दी न करो मुझसे ऐ मेरे हमदर्द दोस्तों
वो भी बड़ा हमदर्द था जो दर्द हजारों दे गया

8
एक खून के रंग ने रंग नहीं बदला
वर्ना सारे रिश्ते जहां के बेरंग हो गए 

9
ठंड की रात भी दुशाला ओढ़ रही थी चांदनी का कुहरे के साए में
ये चांद की मोहब्बत थी जो पाकीज़ा बनकर धरती पर उतरी थी

10
यूं तो फरिश्तों ने भी एक फ़रिश्ते का साथ छोड़ दिया
अजीब इतेफाक था उसको भी किसी से 'इश्क़' हुआ था।


राह में संग चलूँ ये न गँवारा उसको,
दूर रहकर वो करता है इशारे बहुत,
नाम तेरा कभी आने न दिया होंठों पर,
यूँ तेरे जिक्र से शेर सँवारे हैं बहुत।

सपने से एक दिन बाहर आयेगी वो..
तेरी नींद चैन सब चुरा जायेगी वो..
संभालकर रखना अपना दिल ये दोस्त..
वरना ये भी कभी अपना बना जायेगी वो…

सुकून मिलता हैं जब उनसे बात होती है,
हजार रातों में वो एक रात होती है,
निगाह उठाकर जब देखते हैं वो मेरी तरफ
मेरे लिये वही पल पूरी कायनात होती है..

गुलाब के फूल को हम कमल बना देते,
आपकी एक अदा पर कई गजल बना देते,
आप ही हम पर मरती नहीं… वरना
आपके घर के सामने ताजमहल बना देते।

कभी हसा देते हो, कभी रूला देते हो,
कभी कभी नींद से जगा देते हो,
मगर जब भी दिल से याद करते हो,
कसम से ज़िदगी का एक पल बढ़ा देते हो.

इस बेनाम से रिश्ते को निभा जाओ किसी दिन,
जो मिल जाये फुरसत तो पास आओ किसी दिन,
मिलता है सभी को सब कुछ ये सुना है,
मुझे तो फ़कत तुम ही मिला जाओ किसी दिन.

ऐसा कुछ कर कि तेरी आँखों में खो जाऊं,
ऐसा कुछ कर कि तेरी बाहों में से जाऊं
कर अपनी मोहब्बत का जादू कुछ ऐसा
कि में सब भुला कर तेरी हो जाऊं..

जब ख़ामोस आँखों से बात होती है..
ऐसे ही मोहब्बत की शुरूआत होती है..
तुम्हारे ही ख्यालों में खोया रहते हैं..
पता नहीं कब दिन कब रात होती है..

तुझे चाहते हैं बे-इन्तहां, पर चाहना नहीं आता…
ये कैसी मोहब्बत है, कि हमे कहना नहीं आता.
ज़िदगी में आ जाओ हमारी ज़िदगी बन कर..
के तेरे बिन हमें ज़िदा रहना नहीं आता..

मेरी सुबह तुम बन के आते हो,
सूरज की तुम रोशनी बन के आते हो,
होता है एक प्यारा सा एहसास
लगता है जैसे मेरी खुशी तुम बन के आते हो..

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